उत्तराखंड में तीर्थाटन व पर्यटन की भारी संभावनाएं बेरोजगार युवा रोजगार की तलाश में।




उत्तराखंड में तीर्थाटन व पर्यटन की भारी संभावनाएं हैं। जिससे यहां के बेरोजगार युवाओं को घर बैठे स्वरोजगार दिलाया जा सकता है।लेकिन कई क्षेत्रों में लाइफ लाइन मानी जानी वाली सड़क मार्गो के न बनने से बेरोजगार युवा रोजगार की तलाश में अन्य शहरों में पलायन के मजबूर हो रहे है।वही पर्यटन व तीर्थाटन की असीमित संभावनाओं से भरपूर चमोली जनपद के पोखरी ब्लाक का नैल नौली गांव के ग्रामीण युवा नौली सड़क मार्ग के धोतीधार न जुड़ने से स्वरोजगार से बंचित है।नौली गांव से मात्र 7 किलोमीटर की दूरी होने के बावजूद भी यों के ग्रामींणों को अपनी खेती बागवानी की पैदावार बेचने व मूलभूत सुविधाओं के लिए मीलों दूर पोखरी व गोपेश्वर जाना पडता है।
नौली धोतीधार क्षेत्र सेंचुरी एरिया होने व सघन वन क्षेत्र होने की वजह से नहीं वन पा रहा है लेकिन यहां के प्रगतिशील किसान देवेन्द्र नेगी का कहना है कि जहां से वन विभाग द्वारा जानवरों के लिए रास्ता बना है या जहां चट्टानें हैं वहां से यह सड़क मार्ग बनाया जाय ताकि पर्यावरण की भी सुरक्षा हो।
वहीं ग्राम पंचायत नौली प्रधान इस सड़क मार्ग को जरूरी बताते है। उनका कहना है कि यह सड़क मार्ग क्षेत्र के विकास में मील का पत्थर साबित होगी।
दूरस्थ गांव नौली तक सड़क मार्ग पंहुचने से अब ग्रामीणों की मुसीबते काफी हद तक कम हो गई है लेकिन ग्रामीण युवकों का कहना है कि इस सडक मार्ग के निर्माण से सिर्फ नौली गांव ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण पोखरी क्षेत्र के लोगों के लिए रोज़गार का साधन बनेगा।
नौली धोतीधार मोटरमार्ग निर्माण से न सिर्फ तीसजूला क्षेत्र बल्कि पोखरी ब्लाक के सम्पूर्ण क्षेत्र के लिए तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ की यात्रा की सुगमता के साथ साथ पर्यटन की भारी संम्भावनायें है। लेकिन देखने वाली बात यह होगी केन्द्र सरकार जनहित देखते हुए इस सड़क मार्ग की अनुमति कब तक दे पाती है।

-भानु प्रकाश नेगी,हिमवंत प्रदेश न्यूज नौली गांव चमोली।

