छात्रों और शोधार्थियों के लिए खुशखबरी, चकराता के देववन में देश का पहला क्रिप्टोगेमिक गार्डन शुरू


देहरादून। चकराता क्षेत्र के देववन में देश के पहले क्रिप्टोगेमिक गार्डन की शुरूआत हो गई है। क्रिप्टोगेमिक गार्डन यानि गैर बीज वाले पौधे…जी हां… दरअसल नौ हजार फीट की ऊंचाई पर स्थित और तीन एकड़ में फैले इस गार्डन में क्रिप्टोग्राम की लगभग 76 प्रजातियां हैं। इस बीज रहित पौधे का विस्तार बीज नहीं बल्कि पौधों से होता है। जिसमे शैवाल, काई, फर्न, कवक और लाइकेन भी शामिल हैं। जिसे इन प्रजातियों के पारिस्थितिक महत्व को देखते हुए तैयार किया गया है। इस पार्क को बनाने का उद्देश्य क्रिप्टोगेमिक गार्डन पादपों के बारे में लोगों को जागरूक करना है। सामान्य पर्यटकों के अलावा विशेषकर स्कूल, कॉलेज के विद्यार्थियों और शोधार्थियों के लिए यह पार्क ज्ञान का भंडार है।



आपको बता दें कि क्रिप्टोग्राम वे पौधे हैं। जो जुरासिक युग से धरा पर मौजूद हैं। इतना ही नहीं इन पौधों का आर्थिक मूल्य भी जबरदस्त है। इनका उपयोग कई पकवानों में जायका बढ़ाने के लिए किया जाता है। जबकि स्थानीय लोग कई लाइकेन प्रजातियों का उपयोग दवाओं के रूप में भी करते हैं।
